Thursday, March 18, 2010

विधानसभा शर्मसार

जयपुर। विधायक हनुमान बेनीवाल के निलम्बन के दूसरे दिन गुरूवार को भाजपा विधायक दल के सचेतक राजेन्द्र राठौड को एक साल के लिए विधानसभा से निलम्बित कर दिया गया। आसन के निर्देश पर जब राठौड विधानसभा से बाहर नहीं गए, तो सुरक्षा कर्मियों को सदन के भीतर बुलाया गया। इस पर विपक्षी विधायकों और सुरक्षा कर्मियों के बीच खूब धक्का-मुक्की और हाथापाई हुई। विपक्षी विधायक टेबलों पर चढ गए और मार्शल व जवानों से जोर-आजमाइश कर राठौड को सदन से बाहर नहीं जाने दिया। 11 मिनट तक जोरदार हंगामा चला और इसी बीच सभापति ने कामकाज निपटाकर कार्यवाही शुक्रवार तक के लिए स्थगित कर दी। इससे पहले भी सदन चार बार स्थगित हुआ। बैठक स्थगित होने के बाद विपक्षी विधायक राठौड को लेकर सदन के भीतर ही बेमियादी धरने पर बैठ गए। भाजपा विधायकों के साथ माकपा विधायकों ने सदन में ही रात गुजारी। इधर भाजपा ने सवेरे गृहमंत्री शांति धारीवाल के खिलाफ निंदा प्रस्ताव पेश किया। प्रस्ताव में कहा गया कि धारीवाल ने बेनीवाल से अपशब्द कहे। विधानसभा अध्यक्ष दीपेन्द्र सिंह शेखावत ने प्रस्ताव पर व्यवस्था नहीं दी।
जवानों को जडे थप्पड महिला विधायकों ने काटा मार्शल व जवान सदन के भीतर आ गए, तो भाजपा के सदस्य राठौड को चारों तरफ से घेर कर खडे हो गए। सुरक्षा कर्मियों तथा भाजपा विधायकों के बीच जम कर खींचतान हुई। कई विधायकों ने जवानों के थप्पड भी मार दिए। जसवंत यादव व हेमसिंह भडाना को ऎसा करते हुए देखा गया। महिला विधायकों ने कई जवानों के हाथ पर काट खाया।
गृहमंत्री शांति धारीवाल के खिलाफ नारेबाजी करते हुए भाजपा विधायक टेबलों पर चढ गए। हंगामा होता रहा पर विधायकों ने मोर्चाबंदी कर जवानों को राठौड तक नहीं पहुंचने दिया। इसी दौरान अध्यक्ष शेखावत आसन से चले गए और सभापति जाडावत ने खान, वन व उद्योग विभाग की अनुदान मांगें बिना चर्चा पारित करा दीं।
सुबह से ही हंगामाप्रश्नकाल शुरू होने पर जैसे ही अध्यक्ष ने प्रश्नकर्ता रघु शर्मा का नाम पुकारा, राठौड ने नियम एवं प्रक्रिया के नियम 119 के तहत धारीवाल के खिलाफ निंदा प्रस्ताव पर बहस की मांग की। इससे सत्ता पक्ष भी उत्तेजित हो गया। विपक्ष वैल में आ गया और नारेबाजी करने लगा। छह मिनट बाद ही कार्यवाही स्थगित हो गई, इसके बाद चार बार बैठक स्थगित की गई।

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