Monday, September 21, 2009

जसवन्त को आई 'घर' की याद

किताब में जिन्ना की तारीफ से विवादों में आए दिग्गज नेता जसवन्त सिंह को अब घर की याद सताई है। वे बुधवार को जयपुर में पूर्व उप राष्ट्रपति भैरोंसिंह
शेखावत से मिलने के बाद जोधपुर आएंगे और अगले सात दिन तक जोधपुर, बाडमेर व जैसलमेर में विभिन्न क्षेत्रों में प्रवास के दौरान सभाओं व संगोष्ठी को
सम्बोधित करेंगे।
गत मई में सम्पन्न लोकसभा चुनाव में दार्जिलिंग से सासंद चुने जाने के बाद पहली बार मारवाड की यात्रा पर आ रहे जसवन्त 24 सितम्बर शाम 6 बजे
जयनारायण व्यास स्मृति टाउन हॉल में मारवाड विचार मंच के बैनर पर आयोजित 'विचारों की अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता' विषयक संगोष्ठी के मुख्य वक्ता होंगे।
इस संगोष्ठी की अध्यक्षता पूर्व नरेश गजसिंह करेंगे, जबकि पूर्व कुलपति प्रो. एल.एस. राठौड तथा शिक्षाविद् प्रो. जहूर खां मेहर व डॉ. सोहनदान चारण
वक्ता होंगे। अगले दिन पूर्व विदेश मंत्री बाडमेर व जैसलमेर के दौरे पर निकल जाएंगे। जसवन्त 25 सितम्बर को बाडमेर के बालोतरा उपखण्ड स्थित अपने
पैतृक गांव जसोल, 26 को बाडमेर, 27 को जैसलमेर व 28 को पोकरण का दौरा करेंगे। वे अगले दिन जोधपुर आकर दिल्ली लौट जाएंगे।
मारवाड यात्रा के मायनेजसवन्त की इस यात्रा को हालांकि पूरी तरह गैर राजनीतिक बताया जा रहा है, लेकिन जयपुर से जोधपुर के रास्ते तथा जोधपुर सर्किट हाउस में विभिन्न
संगठनों की ओर से स्वागत की तैयारियां और जसवन्त समर्थक भाजपा नेताओं की इसमें प्रत्यक्ष परोक्ष भूमिका कुछ ओर इशारा कर रही है। जसवन्त के
निकटवर्ती लोगों का कहना है कि जोधपुर यात्रा से पहले उनकी शेखावत व पूर्व मंत्री देवीसिंह भाटी सरीखे नेताओं के साथ जयपुर में अहम बैठक होगी।
दिक्कत भाजपाइयों कीजोधपुर सहित सम्भाग के विभिन्न हिस्सों में जसवन्त के समर्थकों की संख्या अच्छी खासी है। भाजपा व अग्र्रिम संगठनों के विभिन्न पदों पर आसीन जसवन्त
समर्थक इस यात्रा को लेकर दिक्कत में है। इनमें से बिलाडा की राजनीति में सक्रिय रहे किशनसिंह खारिया व जोधपुर नगर निगम के पूर्व भाजपा पार्षद गिरीश
माथुर जैसे लोग तो आयोजन को गैर राजनीतिक बताते हुए खुलकर तैयारियों में जुटे हैं, लेकिन अन्य समर्थक असमंजस में हैं।

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