Friday, February 13, 2009

लालू ने बताया सफलता का नुस्खा

कुशल प्रबंधन और काम करने के अनोखे अंदाज से रेलवे के खजाने को भरने के लिए दुनिया भर में वाहवाही लूट चुके रेल मंत्री लालू प्रसाद ने आज आखिरकार अपनी सफलता के नुस्खे को जगजाहिर कर दिया।प्रसाद ने अंतरिम रेल बजट पेश करते हुए कहा कि केवल यात्री किरायों में कमी करके और मालभाड़ा घटाकर प्रतियोगी बाजार में सफल नहीं हुआ जा सकता । उन्होंने कहा कि इसका सिर्फ और सिर्फ एक नुस्खा है .. ग्राहकों की जरूरतों पर खरा उतरिये और उनका दिल जीतिए, वह भी अपने प्रतिस्पर्द्धी से कहीं बेहतर। एक दिन नहीं बल्कि हर दिन और साल दर साल। रेल मंत्री ने कहा कि संगठन अब भी वही है लेकिन उसकी सोच में भारी बदलाव आया है। उन्होंने कहा कि रेलवे अब पहले की अपेक्षा बहिर्मुखी और ग्राहकों पर केन्द्रित हो गई है। उन्होंने कहा कि अब लोग घर बैठे टिकट पा रहे हैं। उन्होंने कहा कि इसी नुस्खे के बल पर रेलवे ने हर वर्ष नई बुलंदी को छुआ। पांच वर्षों में आम आदमी पर बिना कोई बोझ डाले रेलवे लाभांश अदायगी से पहले 90 हजार करोड़ रूपये का नकद अधिशेष अर्जित करने का ऐतिहासिक कीर्तिमान स्थापित करने जा रही है।भारत में भी दौड़ेगी बुलेट ट्रेनजापान और जर्मनी की तर्ज पर देश में तेज रफ्तार बुलेट ट्रेन दौड़ाने के सपने को साकार करने के लिए रेल मंत्री लालू प्रसाद ने आज देश के कई महत्वपूर्ण रूटों पर बुलेट ट्रेन के लिए व्यवहार्यता अध्ययन शुरू करने का ऐलान किया।लालू ने कहा कि दिल्ली-अमृतसर, अहमदाबाद-मुंबई, पुणे-हैदराबाद, विजयवाड़ा-चेन्नई, चेन्नई-बेंगलूर-एर्णाकुलम और हावड़ा-हाल्दिया के बीच बुलेट ट्रेन चलाने के लिए व्यवहार्यता पूर्व अध्ययन का कार्य चल रहा है। उन्होंने कहा कि दिल्ली से पटना के बीच बुलेट ट्रेन चलाने के लिए व्यवहार्यता पूर्व अध्ययन की कार्रवाई भी जल्द शुरू की जाएगी।लालू ने कहा कि जापान, जर्मनी और फ्रांस में 300 से 350 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से चलने वाली गाड़ियों को मैंने देखा है। 2007-08 के बजट भाषण में मैंने देश के विभिन्न हिस्सों में आवश्यकतानुसार बुलेट ट्रेन चलाने के लिए व्यवहार्यता पूर्व अध्ययन कराने की घोषणा की थी। लालू की आज की घोषणा पिछले बजट में किए गए ऐलान के अनुरूप ही है।

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