सिवनी में एक कार्यक्रम के दौरान पत्रकारों और भाजपा कार्यकर्ताओं को कलाई घडी बांटने के मामले में चुनाव आयोग ने मध्यप्रदेश के लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी एवं सहकारिता मंत्री गौरीशंकर बिसेन को दोषी करार दिया है। बतौर सजा रविवार को आयोग ने उनके खिलाफ सार्वजनिक निंदा का प्रस्ताव पारित किया। सहकारिता मंत्री बिसेन ने सिवनी की होटल सेंटर पाइंट में सात मार्च को आयोजित कार्यक्रम में पहुंचे पत्रकारों और पार्टी कार्यकर्ताओं को भोजन के बाद उपहारस्वरूप घडियां वितरित की थीं। मीडिया में खबर आने के बाद चुनाव आयोग ने इस मामले में जिला निर्वाचन अधिकारी मनोहर दुबे से रिपोर्ट मांगी थी। कलेक्टर ने घटना की वीडियो क्लीपिंग और लोगों के बयानों के साथ जांच रिपोर्ट चुनाव आयोग को भेजी थी। कलेक्टर की रिपोर्ट में ही इसका खुलासा हो गया था कि मंत्री ने आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन किया है। मामले में सिवनी पुलिस अधीक्षक मीनाक्षी शर्मा ने बिसेन के खिलाफ धारा 171 बी में प्रलोभन देने और 171 ई में रिश्वत देने तथा पत्रकार को धमकी देने वाले पार्टी कार्यकर्ता राधेश्याम देशमुख के खिलाफ धारा 507 के तहत मामला दर्ज किया था। जवाब से संतुष्ट नहीं आयोग: इस मामले में चुनाव आयोग ने दस मार्च को सहकारिता मंत्री से दो दिन के भीतर स्पष्टीकरण मांगा था। सहकारिता मंत्री ने जो जबाव आयोग को भेजा है आयोग उससे संतुष्ट नहीं है। आयोग ने कलेक्टर की रिपोर्ट के आधार पर इस मामले में बिसेन को आचार संहिता उल्लंघन का दोषी पाया है। आयोग ने उनकी सार्वजनिक निंदा का प्रस्ताव पारित किया है।
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